इंटरनेट पर निजी जानकारी का सुरक्षित होना एक भ्रम है। यदि आप अपनी सुरक्षा को लेकर चिंतित है तो इंटरनेट पर निजी जानकारी देने से परहेज करें। 2018 में डाटा चोरी ने 100 करोड़ से ज्यादा लोगों को प्रभावित किया था और हर हफ्ते किसी ना किसी का डाटा चुराया गया था। क्या बिना जानकारी लीक करवाए इंटरनेट का प्रयोग संभव भी है? आपके डाटा के साथ क्या हो रहा है? नीचे मै कुछ सुझाव दे रहा हूं जिनमें ज्यादा समय भी जाया नहीं होगा और आपकी जानकारियां भी सुरक्षित रहेगी।
पता कीजिए कि क्या आपका डाटा चोरी हुआ है – पहले चेक कीजिए कि क्या आपका डाटा चोरी हुआ भी है । वेबसाइट “Have I been Pwned” में उन सारे अकाउंट्स की जानकारी है जिनका डाटा लीक हुआ है। आप अपनी इमेल आईडी या पुराना पासवर्ड डालकर पता कर सकते हैं कि क्या आपके अकाउंट ने भी डाटा चोरी का सामना किया है।
अपने पासवर्ड बदलें – जहां जहां भी आप पासवर्ड लगाते हैं उन्हें समय समय पर बदलते रहिए।
अलग-अलग पासवर्ड रखिए – हर चीज के लिए एक ही पासवर्ड रखना एक विनाशकारी विचार है। ऐसे में अगर किसी को आपका पासवर्ड पता लग गया तो वह आपके सारे अकाउंट्स हैक कर पाएगा।
पासवर्ड मैनेजर का करें प्रयोग – LastPass और ipassword जैसे किसी पासवर्ड मैनेजर का प्रयोग करें । एक पासवर्ड मैनेजर आपके सारे पासवर्ड स्टोर रखता है और आपको ऐसे नए पासवर्ड बनाने में भी मदद करता है जिन्हे हैक करना अत्यंत ही कठिन हो।
Two factor authentication का करें प्रयोग – इसका प्रयोग करने से अगर कोई आपका पासवर्ड चुरा भी लेता है तब भी वह आपका अकाउंट इस्तेमाल नहीं कर पाएगा ।
अगर आप ज़्यादा खतरा या रिस्क महसूस करते हैं तो आप Yubikey जैसा कोई यंत्र खरीद लीजिए जिससे अकाउंट्स की सुरक्षा और भी बढ़ जाएगी। आसान चीजें जैसे ऐप और कंप्यूटर को अपडेट रखने से भी शैतानी हैकरों के हमले से बचा जा सकता है।
ऐड ट्रैकिंग को कीजिए बंद – अगली बात , ऐड ट्रैकिंग जब भी उपलब्ध हो उसे बंद कर दीजिए। हम जाने अनजाने में ही ऑनलाइन ऐड कंपनियों को अपनी काफी जानकारी दे देते हैं , लेकिन कुछ सर्विस हमें अपनी जानकारी को शेयर ना करने की सुविधा भी देती हैं।
बदलें अपना ब्राउज़र – अगर आप एक कदम और आगे बढ़ना चाहते हैं तो कुछ ब्राउज़र जैसे Firefox Focus प्रयोग करें, जो हमेशा incognito mode में रहता है जिससे आपकी गतिविधियां सबसे छुपी रहती हैं और आप अन्य ब्राउज़र के मुकाबले अधिक सुरक्षित हो जाते है ।
Paid VPN – आखिर में एक paid VPN आपको इंटरनेट की भीड़ और अन्य लोगों से छुपा देता है। VPN आपकी जानकारियां तब और भी सुरक्षित रखता है जब आप एक सार्वजानिक वाई फाई इस्तेमाल कर रहे होते हैं। ये आपके डाटा को encrypt करता है जिससे उसे हैक या चोरी करना और भी कठिन हो जाता है।
क्रेडिट कार्ड की जांच करें – अगर आपको शक है कि आपकी अंदरूनी जानकारियां लीक हो गई हैं जिससे धोखाधड़ी संभव है तो जल्द ही क्रेडिट कार्ड कंपनी या बैंक से संपर्क करें।
फिर भी बेहतर यही होगा कि आप इंटरनेट पर अपनी निजी जानकारियों को बिल्कुल भी साझा ना करें। क्योंकि डाटा की चोरी से बचने के उपाय बेहद कम हैं। यह जान ले कि इंटरनेट पर कुछ भी सुरक्षित नहीं है। लेकिन फिर भी कुछ सावधानियां जो आप रख सकते हैं:
अपना पासवर्ड मजबूत रखे, I love you chinki, pinki जैसे पासवर्ड न ही रखें ना ही 12345678 या 87654321 या abcdefgh जैसे पासवर्ड भी बिल्कुल ना रखें ऐसे पासवर्ड हैकर्स द्वारा बड़ी ही सरलता से क्रैक किया जा सकता है। एक मजबूत पासवर्ड अक्षरों, अंकों और विशेष संकेत चिन्हों का संयोजन होना चाहिए। जैसे: a3₹#kolp, Priya980, Shalu.629, Avani@961 आदि।
इंटरनेट पर अपरिचित वेबसाइटों से कुछ भी डाउनलोड ना करें। जिस फाइल के अंत में .exe लगा हो समझ लिजीए वो वायरस है।
सार्वजनिक स्थानों पर मुफ्त के वाइफाइ के लालच से बचें। कई बार हैकर्स स्वयं ही मुफ्त वाईफाई देकर डाटा की चोरी करते हैं। एवं अपने कम्प्यूटर के एंटी वायरस को अपडेट रखें।
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