मूल राशियों के वे मात्रक जो एक-दूसरे से पूर्णतया स्वतन्त्र होते हैं तथा इनमें से किसी एक मात्रक को किसी अन्य मात्रक से बदला अथवा उससे सम्बन्धित नहीं किया जा सकता है, मूल मात्रक कहलाते हैं। लम्बाई, द्रव्यमान, समय, वैद्युतधारा, ऊष्मागतिक ताप, ज्योति तीव्रता तथा पदार्थ की मात्रा मूल मात्रक हैं। मूल. मात्रकों के गुण निम्नलिखित हैं
- यह बाह्य कारकों से अप्रभावित रहना चाहिए।
- यह सुपरिभाषित होना चाहिए।
- इसे सरलतापूर्वक निर्मित किया जाना चाहिए।
- इसका उपयोग सरल होना चाहिए।