मुग़ल साम्राज्य के पतन की मुख्य वजह -- गोरो के पास बंदूके थी , जबकि मुगलों के पास बंदूके नहीं थी।
ब्रिटेन में 12 वीं सदी में जूरी सिस्टम ( मैग्नाकार्टा ) आने के कारण स्थानीय उद्योगो का विकास होने लगा। बाद में फ़्रांस , जर्मनी , इटली आदि देशो में भी जूरी सिस्टम आया। जूरी सिस्टम के कारण यूरोप में औद्योगिक क्रान्ति हुयी और वे तेजी से तकनिकी आविष्कार करने लगे। और इसी तकनीकी विकास के दौरान उन्होंने बेहतर बंदूके बनाना सीख लिया। मुग़लो के पास जूरी सिस्टम नहीं होने के कारण भारत में तकनिकी विकास नहीं हो सका और वे बेहतर हथियार बनाने से वंचित रहे।
तो जब गोरो को मालूम हुआ कि हम ऐसी वस्तुएं बना रहे है जिन्हें बनाने की तकनीक अन्य देशो के पास नहीं है और हमारे पास दुनिया की सबसे बेहतर बंदूके भी है , तो उन्होंने एक एक कर सभी साम्राज्यों पर आक्रमण करने शुरू किये। अब उनके एक हाथ में आधुनिक तकनीक वाली वस्तुएं थी जिनकी मांग दुनिया भर के लोगो में थी, और दुसरे हाथ में बंदूके थी जिनका इस्तेमाल वे उन राजाओं को धमकाने में कर रहे थे जो उन्हें अपने देश में सामान बेचने की अनुमति नहीं देते थे।
इस तरह दुनिया के सभी साम्राज्य गोरो के निशाने पर थे। जहाँ जहाँ वे जा रहे थे , उन उन साम्राज्यों को वे धराशायी कर रहे थे। इसी दौरान उन्होंने भारत का रुख किया और मुग़ल भी उनकी चपेट में आ गए।
तो दुनिया के अन्य साम्राज्यों के साथ मुग़ल साम्राज्य के पतन की नींव जूरी सिस्टम ने 12 सदी में ही रख दी थी। मुगलों की इसमें कोई गलती नहीं थी, सभी के साथ उनका पतन होना ही था। उनके पास गोरो से टकराने के लिए बेहतर हथियार नहीं थे। और बेहतर हथियार इसीलिए नहीं थे क्योंकि मुगलो के पास जूरी सिस्टम नहीं था। तो मेरे विचार में मुगलों के पतन को रोका नहीं जा सकता था।
ये हमारे पेड इतिहासकरो की जादूगरी है कि वे मुगलों के पतन के कारणों की व्याख्या में जब 100 पेज रंगते है तो उसमे जूरी सिस्टम और बन्दूको का जिक्र भी नहीं करते। इसकी जगह उनके पास संस्कृति , अनेकता , एकता , प्रशासन , आपसी फूट , विद्रोह आदि तरह तरह की बकवास दलीले होती है।