सल्तनत काल में ‘सदका’ एक प्रकार का धार्मिक कर था। यह एक धार्मिक कर था, जो मुस्लिम अमीरों की आय व संपत्ति पर 2.5% के रूप में लगता था। इस कर से प्राप्त आय का खर्चा इस्लाम धर्म के विकास के लिये किया जाता था। यह केवल धनवान मुस्लिमों से प्राप्त धार्मिक कर होता था।मुस्लिम विधिविज्ञों ने करों को धार्मिक करों एवं धर्मनिरपेक्ष करों में विभक्त किया