प्राथमिक तथा द्वितीयक प्रदूषक
प्राथमिक प्रदूषक वे प्रदूषक होते हैं जो निर्माण के पश्चात् पर्यावरण में प्रवेश करते हैं तथा जैसे के तैसे बने रहते हैं। उदाहरणार्थ-SO2, NO2 आदि। जबकि द्वितीयक प्रदूषक वे प्रदूषक हैं जो प्राथमिक प्रदूषकों के मध्य रासायनिक अभिक्रियाओं से बनते हैं। उदाहरणार्थ-हाइड्रोजन तथा नाइट्रोजन के ऑक्साइड जो प्राथमिक प्रदूषक हैं, सूर्य के प्रकाश में परस्पर क्रिया करके ऐसे पदार्थ बनाते हैं जो हानिकारक होते हैं। इस प्रकार निर्मित यौगिक द्वितीयक प्रदूषक कहलाते हैं।