भारतीय इतिहास में कई बड़े साम्राज्य स्थापित हुये हैं। यहाँ हमें सबसे पहले बड़े साम्राज्य और शक्तिशाली साम्राज्य में अंतर स्पष्ट करना होगा ।
चंगेज खान का के साम्राज्य का विस्तार सिकंदर के साम्राज्य से भी दुगुना था लेकिन उसकी अधिकांश जमीन आवासित नहीं थी । इसी आधार पर हम सिकन्दर को ऊपर गिनते हैं।
इसी तरह भारत में बहुत साम्राज्य आये मौर्य,गुप्त ,कुषाण, शक, पाल ,सातवाहन ,चोल,सुल्तान, मुगल ,मराठा, ब्रिटिश साम्राज्य आदि। हमें सबसे शक्तिशाली का पता लगाने के लिये विस्तार के साथ साथ सैनिक क्षमताओं और विजयों का भी आंकलन करना चाहिये।
मेरे विचार में ब्रिटिश साम्राज्य भारत का सबसे शक्तिशाली साम्राज्य था। इससे पहले कोई भी साम्राज्य समूचे भारतीय उपमहाद्वीप पर कब्जा नहीं कर पाया था। अंग्रजो ने लगभग ४ शताब्दी भारत में बिताई और अनेको युद्ध लड़े और हर मोर्चे को जीता। हालाँकि उन्होंने इस देश को लूटा लेकिन शायद अंग्रेज न आते तो शायद कभी भी भारत की सोई आत्मा कभी न जाग पाती ।
ब्रिटिशों ने न सिर्फ भारतीय शक्तियों को परास्त किया बल्कि उन्होंने फ्रांस ,डच, पुर्तगीज सबको उपमहाद्वीप से खदेड़ दिया। अंग्रजो का साम्राज्य म्यान मार से लेकर अफगानिस्तान तक फैला था। पूरा उपमहाद्वीप उन्होंने २०० साल कब्जे में रखा । और सबसे बड़ी बात २०० साल तक कब्जे को उन्होंने बखूबी बनाये रखा। ऐसा पहले कोई भी नहीं कर पाया था।
अंग्रेज बहुत ही ताकतवर और चालक शासक थे । अपनी बुद्धिमत्ता से वो भारत पर इतना राज कर पायें। आप सोचिये की अंग्रेज ना आते तो क्या भारत होता???
खैर प्राचीन भारत में मौर्य अपना विशाल साम्राज्य स्थापित करने में कामयाब हुये और वो चाणक्य के साथ बढने वाले चतुर शासक थे। लेकिन वो उसे काबू न कर सके और तीन राजाओं के बाद साम्राज्य का पतन हो गया। यकीनन चंद्रगुप्त बहुत ही शक्तिशाली और वीर शासक था ,जिसने सम्पूर्ण भारत के लिए प्रयास किया। मौर्य विशाल शक्ति के मालिक थे ,लेकिन उसका साम्राज्य अशोक के साथ ही खत्म हो गया, लेकिन अशोक ने बौद्ध धर्म का संरक्षक का बन अपने धम्म से लगभग पूरे एशिया को जीत लिया था,जो की एक अलग ही जीत थी।
कुषाण साम्राज्य मौर्य साम्राज्य के बाद के शक्तिशाली साम्राज्यों में से एक था ,जिसने चीन तक अपनी विजय पताका लहराई और सिल्क रूट को काबू किया।
चोल साम्राज्य ऐसा साम्राज्य था ,जिसके पास उस वक्त एक मजबूत नौसेना थी।जिसके दम पर वो भारत की ऐसी शक्ति बनी जिसने दक्षिण -पूर्वी एशिया को जीता।
मुग़ल और सल्तनत काल में विस्तार शासक विशेष के दम पर हुये ,जो अल्पकालिक थे । मुग़ल और सल्तनत काल में दिल्ली वाले कुछ इलाके छोड़ कभी भी शासक भारत में कई भी स्थाई पकड़ नहीं बना सके। उनके काल विद्रोहों से भरे रहें चाहे वो राजपूत वीर महाराणा प्रताप के हो या वीर मराठा शिवाजी के। इनके काल में युद्ध अक्सर विद्रोहों को दबाने के लिये हुए। सिक्ख,जाट,राजपूत,अहोम सभी ने इस दौर में विद्रोह किये और अपने राज्य स्थापित किये।