लॉर्ड विलिंगडन के शासनकाल में भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस पर प्रतिबन्ध लगाया गया तथा उसके 1,20,000 से अधिक सदस्यों को गिरफ्तार किया गया। लॉर्ड विलिंगडन 1931 ई. से 1936 ई. तक भारत का वाइसराय रहा। 1931 ई. में लॉर्ड इरविन के बाद विलिंगडन को वाइसराय बनाकर भारत भेजा गया था। इसके समय में 7 सितम्बर से 2 दिसम्बर, 1931 ई. तक 'द्वितीय गोलमेज सम्मेलन' का आयोजन लन्दन में हुआ।इस सम्मेलन में गाँधी जी ने कांग्रेस (राष्ट्रीय) का प्रतिनिधित्व किया था।
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